लखनऊ। जिसका डर था आखिर वही हुआ। आबकारी आयुक्त सेंट्रल पांडियन सी के फर्जीबाड़ेका खामियाजा आखिरकार विभाग के अधिकारियों कर्मचारियों को भुगतना पड़ेगा। मुख्यमंत्री कार्यालय द्वारा मानव संपदा पोर्टल को लेकर एक और सर्कुलर जारी किया गया है जिसमें स्पष्ट तौर पर कहा गया है कि जनवरी का वेतन जो 1 फरवरी से जारी होगा वह उन्हें कर्मचारियों को प्राप्त हो पाएगा जिनका विवरण मानव संपदा पोर्टल पर अपडेट किया गया है।
मानव संपदा पोर्टल से डीएक्टिवेट हो गया आबकारी विभाग
आबकारी विभाग की मुश्किलें इसलिए भी ज्यादा बढ़ गई है क्योंकि कई वर्षों से विभाग ने पोर्टल पर कोई डाटा अपडेट नहीं किया जिसकी वजह से मानव संपदा पोर्टल से आबकारी विभाग डीएक्टिवेट हो गया है।
कहां जा रहा है कि आबकारी आयुक्त पांडियन सी ने फर्जीबाड़ा करते हुए पिछले स्थानांतरण सत्र में एक फर्जी मानव संपदा पोर्टल बनाकर बड़े पैमाने पर अधिकारियों और कर्मचारियों का स्थानांतरण कर दिया था अब वही फर्जीवाडा विभाग के लिए जी का जंजाल बना हुआ है। एक तरफ चुनाव आयोग ने मानव संपदा पोर्टल के जरिए 3 साल से अधिक समय से कार्यरत अधिकारियों कर्मचारियों का विवरण सॉफ्ट कॉपी में मांग लिया है दूसरी ओर 2019 से अब तक मानव संपदा पोर्टल पर किसी भी अधिकारी और कर्मचारियों की वार्षिक गोपनीय आख्या और एसीपी अपडेट ही नहीं की गई। ऐसे में नए शासनादेश के तहत लगभग सभी अधिकारियों और कर्मचारियों का वेतन बाधित होने की पूरी संभावना है।
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