
लखनऊ। उत्तर प्रदेश में सरकार ने संविदा कर्मियों को नियमित करने से इंकार कर दिया है.फिलहाल संविदा कर्मियों को मायूसी हाथ लगी है. लेकिन बता दे कि सातवें वेतन समिति की संस्तुतियों पर लंबित निर्णय कराने, जुलाई 2021 से महंगाई भत्ते का भुगतान और सुनिश्चित कॅरिअर प्रोन्नयन निर्धारण संबंधी शासनादेश की विसंगति दूर करने की मांग पर विचार के आदेश दिए गए हैं. संविदा कर्मचारियों को उम्मीद थी कि सरकार इस बार उन्हें भी नियमित कर सकती है लेकिन सरकार से यह मांग मानने से इनकार कर दिया है.।
पुरानी पेंशन पर कोई विचार नही:
पुरानी पेंशन को बहाल करने के संबंध में भी कोई ठोस आश्वासन नहीं दिया गया है. सरकार ने कहा है कि पुरानी प्रबंधन व्यवस्था को लागू नहीं किया जाएगा लेकिन नौकरी होने के साथ ही खाता खुलवाने का व्यवस्था किया जाएगा.इसके लिए वित्त विभाग को अलग से शासनादेश जारी करने का आदेश दिया गया है. पुरानी पेंशन व्यवस्था को बहाल करने की मांग लंबे समय से की जा रही है लेकिन सरकार ने इस व्यवस्था को पुनः बहाल करने से साफ इनकार कर दिया है. शासन ने कहा है कि पेंशन की प्रक्रिया में आ रही समस्याओं को दूर करने का प्रयास किया जाएगा.
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