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रंगीन मिजाज डिप्टी कमिश्नर, दहशत में महिला कांस्टेबल:

वारणसी। डिप्टी एक्साइज कमिश्नर प्रदीप दुबे अपनी रंगीन मिजाजी के लिए सुर्खियों में है। आरोप है कि डिप्टी कमिश्नर अपने हमराहियों में महिला कांस्टेबल को ही रखते हैं और तरह-तरह के अनुचित और अवैध काम करने का दबाव बनाते हैं। डिप्टी कमिश्नर की बात मानने से यदि कोई महिला कांस्टेबल इनकार कर देती है तो  उसकी नौकरी के पीछे पड़ जाते हैं। उसे मानसिक और शारीरिक रूप से टॉर्चर करते हैं। नेशनल रैंक की शूटर लक्ष्मी सिंह जिनके तैनाती आबकारी विभाग में महिला आरक्षी के पद पर है उन्हें भी डिप्टी कमिश्नर की  ज्यादती का शिकार होना पड़ा है। डिप्टी कमिश्नर प्रदीप दुबे की अनुचित बात मानने से साफ इनकार करने पर लक्ष्मी सिंह को विभाग के उत्पीड़न का सामना करना पड़ रहा है। प्रदीप दुबे खुले आम धमकी दे रहे हैं कि तुमने हमारी बात नहीं मानी और हमारे खिलाफ कोर्ट चली गई हो अब तुम्हें इसका पूरा खामियाजा भुगतना पड़ेगा। बताया जा रहा है कि प्रतिदिन लक्ष्मी सिंह से स्पष्टीकरण कॉल किया जा रहा है। ऐसी जगह ड्यूटी दी जा रही है जो पूरी तरह से एक महिला कांस्टेबल के लिए असुरक्षित और खतरनाक है। इतना ही नहीं डिप्टी कमिश्नर प्रदीप दुबे अपने मातहत अधिकारियों से भी उत्पीड़न करवा रहे हैं। कहा जा रहा है कि डिप्टी कमिश्नर प्रदीप दुबे ने लक्ष्मी सिंह से कहा कि तुम्हें मेरे हिसाब से नौकरी करनी होगी जब लक्ष्मी सिंह ने डिप्टी कमिश्नर से खुलकर इस पर बात करने को कहा तो वह भड़क गया और बोला तुम हमारी बात को हल्के में ले रही हो अब मैं तुम्हें नौकरी करना सिखा दूंगा।

महिला आरक्षी लक्ष्मी सिंह ने बताया डिप्टी कमिश्नर से अपनी जान माल का खतरा:

कहा जा रहा है कि महिला कांस्टेबल लक्ष्मी सिंह जिन्होंने डिप्टी कमिश्नर पर उत्पीड़न और अत्याचार का आरोप लगाते हुए हाई कोर्ट में याचिका दाखिल की है और जिनकी याचिका पर डिप्टी कमिश्नर को पार्टी बनाया गया है और जिसकी तारीख  पेशी 30 सितंबर है। महिला आरक्षी ने डिप्टी कमिश्नर पर उत्पीड़न और शोषण का आरोप लगाते हुए स्थानी पुलिस स्टेशन में शिकायत दर्ज कराई है। शिकायती पत्र में लक्ष्मी सिंह ने कहा कि जब से वह उत्पीड़न के खिलाफ हाईकोर्ट गई है तब से उनसे बदला लिया जा रहा है और तरह-तरह से धमकी देकर उन्हें परेशान किया जा रहा है लक्ष्मी सिंह ने अपने सिक्योरिटी पत्र में कहां है कि यदि उनके साथ कोई अनहोनी हुई तो उसके लिए केवल डिप्टी कमिश्नर प्रदीप दुबे जिम्मेदार होंगे। कहां जा रहा है कि लक्ष्मी सिंह का शिकायती पत्र आबकारी आयुक्त कार्यालय को भेजा जा चुका है।

प्रदीप दुबे के चलते कमिश्नर की हाई कोर्ट में हो गई थी पेशी:

यह वही डिप्टी कमिश्नर प्रदीप दुबे है जो लक्ष्मी सिंह के उत्पीड़न के मामले में हाईकोर्ट में  सुनवाई  का सामना कर रहा है। इसी प्रकरण में कमिश्नर आदर्श सिंह की भी पेशी हो चुकी है जहां उन्होंने अदालत से माफी मांग कर अपनी जान बचाई। इतनी फजीहत के बावजूद डिप्टी कमिश्नर के आचरण में कोई सुधार नहीं हो रहा है। लक्ष्मी सिंह ने जब से हाईकोर्ट के आदेश के बाद डिप्टी कमिश्नर कार्यालय में  जॉइनिंग दी है तब से अत्याचार उत्पीड़न और शोषण चरम पर पहुंच गया है। बताया जा रहा है कि इसके पहले मेरठ और मुरादाबाद में भी दो महिला कांस्टेबल का डिप्टी कमिश्नर मानसिक और शारीरिक उत्पीड़न कर चुके हैं।

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