
लखनऊ। आज सुबह-सुबह आबकारी मुख्यालय में एक बड़ा ट्रक आकर रुका जिस पर आबकारी विभाग के कई कार्यायलयों के फर्नीचर अलमारी कंप्यूटर और अन्य दस्तावेज लोड होने लगे। अवध भूमि न्यूज़ ने पड़ताल की तो पता चला यह ट्रक रेडीको खेतान का है। सबसे बड़ा सवाल यही है कि बेहद गोपनीय फाइल कंप्यूटर और अलमारी तथा संवेदनशील दस्तावेज एक शराब कंपनी की ट्रक पर किसके आदेश पर लोड किया गया और क्या उस कंपनी का आबकारी विभाग के कमिश्नर से कोई नजदीकी संबंध है। क्या शराब कंपनी आबकारी आयुक्त से अपने नजदीकी संबंध का कोई फायदा उठा रहा है। शराब कंपनी की इस तरह की सेवा के बदले उसे कौन सी सहूलियत दी जाती है। ऐसे तमाम सवाल हैं जिसका जवाब आबकारी आयुक्त के पास नहीं है। अवध भूमि न्यूज़ में जब विभाग के कुछ अधिकारियों से संपर्क किया तो उन्होंने स्वीकार किया कि बिना किसी आदेश के ही कार्यालय के फर्नीचर कंप्यूटर अलमारी और पत्रावली यहां से हटाया जा रहा है।
आबकारी मुख्यालय में अराजकता चरण पर है और कमिश्नर इसकी एक वजह स्वयं है।
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